प्राइवेट सेना वैगनर ने रूस में बगावत कर दी है। वैगनर ग्रुप राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का सपोर्ट करता था और यूक्रेन की जंग में भी लड़ता था, लेकिन इस ग्रुप के लड़ाकों ने अचानक से विद्रोह कर दिया है। वैगनर के चीफ येवगेनी प्रीगोझिन का दावा है कि उनकी सेना के जवानों ने रोस्तोव में रूसी सेना के सेंटर पर कब्जा जमा लिया है।
रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने वैगनर के प्रमुख येवगेनी प्रिगोझिन पर देशद्रोह, सशस्त्र विद्रोह शुरू करने और अपने ही देश की पीठ में छुरा घोंपने का आरोप लगाया है। वहीं इस आरोप पर प्रिगोझिन का कहना है कि उनका उद्देश्य सैन्य तख्तापलट नहीं बल्कि न्याय के लिए मार्च निकालना है।
प्रीगोझिन ने रूस के रक्षा मंत्री सर्गेई शोइगू पर यूक्रेन में ‘वैगनर ग्रुप’ के बेस कैंप पर रॉकेट हमला करने का आदेश देने का आरोप लगाया था, जहां उसके लड़ाके रूस की तरफ से यूक्रेनी बलों से लड़ रहे हैं। प्रीगोझिन ने कहा कि उसके लड़ाके अब शोइगू को दंडित करने के लिए आगे बढ़ेंगे और रूसी सेना से आग्रह किया कि वह इसका प्रतिरोध न करे। प्रीगोझिन ने कहा, “यह सशस्त्र विद्रोह नहीं है, बल्कि न्याय की ओर मार्च है।” रूस के रक्षा मंत्रालय ने प्रीगोझिन के दावों को खारिज किया।
बता दें कि वैगनर सेना यूक्रेन के खिलाफ रूस की तरफ से युद्ध में लड़ रही थी। लेकिन अब अचानक बगावती तेवर दिखाए हैं। जिससे पुतिन की मुश्किलें बढ़ गई है। मिली जानकारी के मुताबिक वैगनर ने रोस्तोव में आर्मी हेडक्वार्टर पर कब्जे का दावा किया है।