इंडोनेशिया के लॉमबोक द्वीप पर रविवार को आए शक्तिशाली भूंकप में अब तक कम से कम 82 लोगों की मौत की ख़बर है. अधिकारियों का कहना है कि ज़ख़्मी होने वालों की संख्या सैकड़ों में हैं.
रिक्टर पैमाने पर सात तीव्रता वाले इस भूकंप से हज़ारों इमारतों को नुक़सान पहुंचा है. कई जगहों पर बिजली भी गुल है.
भूकंप आने के बाद सूनामी की चेतावनी जारी कई गई थी मगर कुछ घंटों बाद यह वापस ले ली गई.
इंडोनेशिया की आपदा प्रबंधन एजेंसी के प्रवक्ता ने एएफ़पी न्यूज़ को बताया कि लॉमबोक के मुख्य शहर मताराम में कई इमारतें प्रभावित हुई हैं. इनमें से ज़्यादातर ख़राब निर्माण सामग्री से तैयार की गई थीं.
मताराम में रहने वाले ईमान नाम के एक शख्स ने इन शक्तिशाली झटकों के बारे में बताया, “हर कोई तुरंत अपने घर से बाहर की तरफ भागा. हर कोई हड़बड़ी में था.”
मताराम के कई हिस्सों में बिजली गुल हो गई है.
बाली के देनपसार में मुख्य अस्तपाल से मरीज़ों को बाहर निकालना पड़ा.
बाली में कई सेकेंडों तक झटके महसूस किए जाते रहे. बाली की राजधानी देनपसार में काम करने वाले एक शख्स ने बीबीसी को बताया, “शुरू में तो छोटे झटके आए मगर धीरे-धीरे वे तेज़ हो गए. लोगों ने चिल्लाना शुरू किया- भूकंप. सारा स्टाफ़ हड़बड़ा गया और सभी ने बाहर की ओर भागना शुरू कर दिया.”
लॉमबोक और बाली की सड़कों पर बहुत सा मलबा गिरा पड़ा था जिसे बाद में लोगों ने साफ़ किया.
जिस समय भूकंप आया, सिंगापुर के गृहमंत्री के. शनमुगम एक सुरक्षा सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए लॉमबोक में ही थे.
उन्होंने फ़ेसबुक पर लिखा है कि कैसे उनके होटल का कमरा ज़ोर-ज़ोर से हिलने लगा. उन्होंने लिखा है, “खड़ा रहना भी मुश्किल था.”
दोनों द्वीपों पर हवाई सेवाएं सामान्य हैं मगर बाली के देनपसार एयरपोर्ट पर भूकंप के कारण हल्का नुकसान हुआ है.