जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने अयोध्या फैसले का स्वागत करते हुए लिखा कि हम हमेशा कहते रहे हैं कि हम सुप्रीम कोर्ट के फ़ैसले का सम्मान करेंगे। मुझे उम्मीद है कि देश विकास के रास्ते पर बढ़ेगा, जहां तक रिव्यू पिटीशन की बात है, मैं उससे सहमत नहीं हूं।
न्यूज एजेंसी भाषा के अनुसार, इमाम बुखारी ने संवाददाताओं से कहा कि मैंने पहले भी कहा था कि देश कानून और संविधान के अमल पर चलता है। 134 साल से चल रहे विवाद का अंत हुआ। पांच सदस्यीय संविधान पीठ ने निर्णय लिया। गंगा-जमुनी संस्कृति और सद्भाव को देखते हुए कि यह प्रयास करना होगा कि आगे देश को इस तरह के विवाद से नहीं गुजरना पड़े।
उन्होंने कहा कि देश संविधान के तहत चले, कानून का अमल होता रहे, साम्प्रदायिक तनाव नहीं हो और समाज नहीं बंटे, इसके लिए सभी को अपनी भूमिका अदा करनी होगी। हिंदू-मुस्लिम की बात बंद होनी चाहिए और देश को आगे बढ़ाने के लिए सब मिलकर चलें।
शाही इमाम ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बयान से यह उम्मीद की जानी चाहिए कि देश सद्भाव की तरफ आगे बढ़ेगा। फैसले के खिलाफ अपील से जुड़े ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के बयान के बारे में पूछे जाने पर बुखारी ने कहा कि मेरी अपनी राय है कि मामले को ज्यादा बढ़ाना उचित नहीं है। पुनर्विचार के लिए सुप्रीम कोर्ट में जाना बेहतर नहीं है। उन्होंने कहा कि मुस्लिम समुदाय पहले से कहता रहा है कि वह फैसले का सम्मान करेगा और अब फैसला आने के बाद लोग इससे सहमत हैं।