पीएनबी घोटाले का मुख््य आरोपी नीरव मोदी इस वक््त हांगकांग में हैं। विदेश मंत्रालय ने हांगकांग की सरकार से नीरव मोदी की अंतरिम गिरफ्तारी की अपील की है। विदेश राज्यमंत्री वीके सिंह ने गुरुवार को राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में इस बात की जानकारी दी।
नीरव मोदी पर पीएनबी बैंक से 13,000 करोड़ रुपए की धोखाधड़ी का मामला दर्ज है। वीके सिंह ने बताया कि इस जानकारी के बाद पिछले माह यानी 23 मार्च 2018 को नीरव मोदी की अस्थायी गिरफ्तारी के लिए हांगकांग की सरकार को लिखित में अनुरोध किया था। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने नीरव मोदी और उसके परिवार को ढूंढने के लिए इंटरपोल से मदद मांगी है।
सूत्रों के मुताबिक, एजेंसी ने मार्च में ही इंटरपोल से नीरव मोदी को ढूंढने और उसे गिरफ्तार करने का अनुरोध किया था, जो जनवरी के पहले हफ्ते से ही अपने परिवार के साथ देश से फरार है। इसके कुछ ही हफ्तों बाद केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) को इस घोटाले की सूचना दी गई थी, जो इस मामले में आपराधिक कदाचार की जांच कर रहा है।
पीएनबी को धोखा देने के मामले में गीतांजलि समूह के प्रमुख नीरव मोदी और उसके व्यापारिक सहयोगी और मामा मेहुल चौकसी के खिलाफ ईडी और सीबीआई की जांच चल रही है, जिसके तहत यह कदम उठाया गया है। 16 फरवरी को विदेश मंत्रालय ने मोदी और मेहुल चोकसी को कारण बताओ नोटिस जारी किया था।
ग़ौरतलब है कि 2013 से ही नीरव मोदी के समूह की कंपनियों- डायमंड आर यूएस, स्टीलर डायमंड और सोलर एक्सपोर्ट्स और अन्य के समृद्ध और जानेमाने भारतीय खरीदार रहे हैं। पीएनबी ने नीरव मोदी और उसके समूह की कंपनियों द्वारा 13,000 करोड़ रुपये के घोटाले की सूचना दी थी, जिसमें देश के बैंकिंग प्रणाली में बड़े पैमाने पर उथल-पुथल मचा दी है।