नई दिल्ली : दिल्ली HC ने CBSE को उसके ‘विद्यार्थी विरोधी रुख’ के लिए फटकार लगाते हुए कहा कि वह कई मामलों में विद्यार्थियों को SC तक ले जाकर उनके साथ ‘शत्रु’ जैसा व्यवहार कर रहा है.
जस्टिस डीएन पटेल और जस्टिस प्रतीक जालान की पीठ ने यह टिप्पणी बोर्ड द्वारा एकल पीठ के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए की.
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एकल पीठ ने अपने आदेश में कहा था कि कोविड-19 की वजह से रद्द परीक्षा से प्रभावित विद्यार्थियों के लिए CBSE द्वारा लाई गई पुन: मूल्यांकन योजना अंक सुधार के आवेदकों पर भी लागू होगी.
HC ने कहा, ‘‘हम CBSE का विद्यार्थी विरोधी रुख पसंद नहीं करते, आप विद्यार्थियों को सुप्रीम कोर्ट के दरवाजे पर खींच रहे हैं, वे पढ़ाई करें या अदालत जाएं?
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हमें CBSE से मुकदमा खर्च भुगतान करवाना शुरू करना चाहिए,’’ पीठ ने कहा, ‘‘वे विद्यार्थियों के साथ दुश्मन जैसा व्यवहार कर रहे हैं.’’
HC ने ने कहा, ‘‘ कोई भूचाल नहीं आ रहा था कि आप इस समय अदालत आए हैं,’’ पीठ ने कहा कि CBSE को विद्यार्थियों को अदालत में घसीटने की बजाये स्पष्टीकरण के लिए शीर्ष अदालत जाना चाहिए.