नई दिल्ली : हरियाणा के कादराबाद गांव में किसान आंदोलन के समर्थन में गांव के लोगों ने बीजेपी और जेजेपी के नेताओं का गांव में प्रवेश पर रोक लगा दिया है.
गांव के लोगों ने पंचायत कर गांव के बाहर बैनर लगा दिया है, जिसपर जेजेपी और बीजेपी के लोगों के गांव में आने पर उनकी जूतों परेड कराने की चेतावनी दी है.
लोगों ने गांव के बाहर “जो किसानों की बात करेगा, वही गांव में बढ़ेगा,,” का बैनर टांग दिया हैं, किसानों ने कहा की किसानों के हितों की बात की आड़ में जो 3 कृषि कानून लागू किए हैं, वह किसान हितैषी नहीं है, उन्हें किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
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किसान गुरलाल सिंह ने कहा कि सत्ता में बैठे हुए नेता किसानों पर जबरदस्ती इन कानूनों को थोंपकर किसानों को बर्बादी के कगार पर खड़ा करना चाह रहे हैं.
इतना ही नहीं इन कानूनों का विरोध कर रहे किसानों को कहीं आतंक’वादी बताया जा रहा है तो कहीं उनको उग्र’वादी और खालि’स्तानी बताया जा रहा है.
ऐसा करके किसानों का अपमान किया जा रहा है और हरियाणा की सरकार आंदोलनकारी किसानों में फूट डालने की साजिश रच रही है.
गुरलाल ने यह भी कहा कि हरियाणा सरकार किसानों को दोफाड़ करने के लिए एसवाईएल का मुद्दा उठाने किस का षड्यंत्र कर रही है.
किसान कुलदीप ने कहा कि किसान सरकार के किसी भी षड्यं’त्र को सफल नहीं होने देंगे, किसानों ने कहा कि सरकार की इन नीतियों के विरोध में जेजेपी और बीजेपी के नेताओं का बहिष्कार किया है.
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गांव के किसानों से भी अपील की है कि वह अपने गांव में इन दोनों दलों के लोगों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दें, ताकि किसानों का अपमान करने वालों का कोई भी अपने यहां बैठने के लिए स्थाना दें.
मोदी सरकार किसानों को मूर्ख ना समझे, यदि सरकार इस गलतफहमी में या गफलत में रहेगी तो फिर आने वाले दिनों में सत्तासीन पार्टी के लोगों को इसके गंभीर परिणाम भुगतने पड़ेंगे.