दिल्ली की जवाहर लाल नेहरु यूनिवर्सिटी छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष और सीपीआई नेता कन्हैया कुमार पर देशद्रो!ह के मामले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्र की मोदी सरकार पर निशाना साधते हुए इशारों में उसे ही देशवि!रोधी करार दिया है। जेएनयू में देश विरोधी नारे लगाने के मामले में कन्हैया कुमार और अन्य पर देशद्रोह और अन्य धाराओं में आरोपपत्र दाखिल करने के लिए दिल्ली सरकार की अनुमति नहीं लिए जाने के मामले में दिल्ली के कानून मंत्री ने कानून सचिव को बिना विभाग की स्वीकृति के इस मामले से संबंधित फाइल गृह मंत्रालय को भेजने पर कारण बताओ नोटिस भी जारी किया है।
मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल ने सोशल मीडिया साइट ट्विटर पर ट्वीट कर कहा है कि मुझे नहीं पता कन्हैया ने देशद्रोह किया है या नहीं , उसकी जांच कानून विभाग कर रहा है।’’ केजरीवाल ने मोदी सरकार पर दिल्ली के विकास कार्यों में अड़चने डालने का आरोप भी मढ़ा। मुख्यमंत्री ने ट्विटर पर लिखा ‘‘ उधर मोदी जी ने दिल्ली के बच्चों के स्कूल रोके ,अस्पताल रोके, सीसीटीवी कैमरे रोके, मोहल्ला क्लीनिक रोके, दिल्ली को ठप करने की पूरी कोशिश की, क्या ये देशद्रोह नहीं है।

कन्हैया कुमार
दरअसल, दिल्ली सरकार के कामकाज में केंद्र सरकार उपराज्यपाल के जरिए रुकावट डालने का आरोप लगाती आई है। पिछली साल ही इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट ने बड़ा फैसला दिया था। जहां उपराज्यपाल को चुनी हुई सरकार के अधिकारों को साफ़ कर दिया गया है।

आपको बता दें कि दिल्ली पुलिस ने वर्ष 2016 में जेएनयू परिसर में लगे भारत वि!रोधी नारे को लेकर जेएनयू के 9 छात्रों देशद्रो!ह का मुकदमा दर्ज किया था। आरोपियों में 7 कश्मीरी भी शामिल हैं। दिल्ली पुलिस ने अपने 1200 पेज के आरोपपत्र में कई गवाहों, वीडियो फुटेज का हवाला देते हुए आरोप लगाया है। संसद हमले के दोषी अफजल गुरु को फां!सी दिए जाने के बाद कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस दौरान जब नारे लग रहे थे तब तत्कालीन छात्रसंघ अध्यक्ष कन्हैया कुमार वहां मौजूद थे।