देश की राजधानी दिल्ली में मौजूद बीजेपी के मुख्यालय में इन दिनों काफी गहमागहमी का माहौल बना हुआ है दरअसल हाल ही में देश के 5 राज्यों में हुए चुनाव नतीजों की घोषणा के बाद पार्टी सकते में आ चुकी है। वहीं बीते दिनों रफाल डील मामले में सुप्रीम कोर्ट का फैसला आना बीजेपी के लिए और भी मुसीबत का कारण बन गया है।

इसी के चलते बीजेपी एक के बाद एक प्रेस कॉन्फ्रेंस कर मीडिया के सामने अपना पक्ष रखते नजर आ रही है सबसे खास बात यह है कि जहां केंद्रीय मंत्री एक तरफ खाने का कार्यक्रम आयोजित कर रहे हैं वहीं बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह बीजेपी मुख्यालय में प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजन करते जा रहे हैं। बीते दिनों केंद्रीय मंत्री विजय गोयल ने यहां एक लंच का कार्यक्रम आयोजित किया था लेकिन इसी दौरान बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने पश्चिम बंगाल में ममता बनर्जी की सरकार द्वारा निकाली जा रही रथयात्रा की इजाजत ना मिलने पर एक कॉन्फ्रेंस को आयोजित कर दिया।
जब केंद्रीय मंत्री सुषमा स्वराज ने संसद के शीतकालीन सत्र की शुरुआत के मौके पर लंच का आयोजन किया तो अमित शाह ने एक बार फिर रफाल डील मामले पर सुप्रीम कोर्ट के फैसले को लेकर प्रेस कॉन्फ्रेंस का आयोजन कर डाला। हाल ही में बीजेपी के वरिष्ठ नेता मुरली मनोहर जोशी ने भी एक कार्यक्रम आयोजित किया था लेकिन इस दौरान बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह ने पार्टी के तीन अन्य केंद्रीय मंत्रियों को मीडिया के समक्ष पेश होने के लिए बुला लिया।

माना जा रहा है कि मध्यप्रदेश समेत राजस्थान और छत्तीसगढ़ में हार के बाद से ही बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह साल 2019 में होने वाले लोकसभा चुनावों के लिए चिंतित हो गए हैं और आत्ममंथन कर रहे हैं। राजनीतिक सूत्रों की मानें तो बीजेपी साल 2019 में होने वाले लोकसभा चुनाव के लिए अपनी रणनीतियों में बदलाव कर सकती है और देश के किसानों के साथ साथ अब युवाओं पर भी सत्ता हासिल करने के लिए दांव लगा सकती है।