फिल्मकारों और लेखकों के बाद अब 600 से ज़यादा थिएटर कलाकारों ने लोकसभा चुनावों से ठीक पहले बीजेपी के खिलाफ लोगों से वोट करने की अपील की है।
यह अपील कलाकारों ने एक पत्र पर हस्ताक्षर कर की।
पत्र पर हस्ताक्षर करने वालों में अमोल पालेकर, अनुराग कश्यप, डॉली ठाकोर, नसीरुद्दीन शाह, अभिषेक मजूमदार, रत्ना पाठक शाह, लिलेट दुबे, अनामिका हासकर, कोंकणा सेन शर्मा, नवतेज जौहर, एमके रैना, महेश दत्तानी और संजना कपूर जैसे नाम शामिल हैं।
इस पत्र को गुरुवार शाम आर्टिस्ट यूनाइट इंडिया वेबसाइट पर 12 भाषाओं में जारी किया गया है। पत्र में कहा गया है कि “आज, भारत का विचार खतरे में है। आज, गीत, नृत्य, हंसी खतरे में है। आज, हमारा प्रिय संविधान खतरे में है।” सरकार ने उन संस्थानों का “दम घोंट” दिया है जहां तर्क, बहस और असंतोष पर बात हो सकती थी। लोकतंत्र को अपने सबसे कमजोर व्यक्ति जो हाशिए पर है को सशक्त चाहिए।
पत्र में कहा गया है कि “किसी भी लोकतंत्र में सवाल, बहस होना चाहिए। लोकतंत्र जीवंत विपक्ष के बिना काम नहीं कर सकता। लेकिन मौजूदा सरकार इस सब को नष्ट कर रही है।”
बीजेपी को नफरत की राजनीति करने वाली पार्टी बताते हुए पत्र में कलाकारों ने कहा कि विकास के वादे के साथ पांच साल पहले सत्ता में आई बीजेपी ने हिंदुत्व के गुंडों को नफरत और हिंसा की राजनीति करने के लिए स्वतंत्र कर दिया है।
पत्र में देशवासियों से अपील करते हुए कहा गया है कि लोग “संविधान, धर्मनिरपेक्ष लोकाचार” की रक्षा करने और “कट्टरता, घृणा और सत्ता से बाहर कुछ न सोचने वालों’’ के खिलाफ वोट करें।
पत्र में कहा गया कि सबसे कमजोर लोगों को सशक्त बनाने, स्वतंत्रता की रक्षा करने, पर्यावरण की रक्षा करने और वैज्ञानिक सोच को बढ़ावा देने के लिए वोट करें। धर्मनिरपेक्ष लोकतांत्रिक, समावेशी भारत के लिए वोट करें। सपने देखने की आजादी के लिए वोट करें।
इससे पहले फिल्मकारों और देश के 200 से ज्यादा लेखकों ने लोगों से नफरत की राजनीति के खिलाफ मतदान करने की अपील की थी।