उत्तर प्रदेश में आज से विधानसभा का मानसून सत्र शुरू हो रहा है। इससे पहले सपा मुखिया अखिलेश यादव के नेतृत्व में पार्टी के विधायकों और कार्यकर्ताओं ने योगी सरकार के खिलाफ अपने पार्टी कार्यालय से राज्य विधानसभा तक मार्च निकाला।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि उत्तर प्रदेश में कुछ हिस्सों में बाढ़ और कुछ हिस्सों में सूखा है। सरकार ने किसानों को इससे हुए नुकसान पर कोई राहत नहीं दी है। लम्पी वायरस से हजारों-हजार गायों की जान जा चुकी हैं, सरकार उन जानवरों की देखभाल के लिए भी कुछ नहीं कर पाई है।
एक तरफ समाजवादी पार्टी के पैदल मार्च के शुरू होते ही BJP की तरफ जुबानी हमले तेज़ हो गए। उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने कहा, समाजवादी पार्टी जिसे मार्च का नाम देकर विरोध प्रदर्शन कर रही है वो जनता के हितों से जुड़ा हुआ है ही नहीं। अगर उन्हें जनता से जुड़े किसी मुद्दे पर चर्चा करनी है तो सदन में करनी चाहिए, जो कार्यवाही का हिस्सा बने। सरकार चर्चा के लिए तैयार है।
वहीं सपा के मार्च को रोकने को लेकर यूपी पुलिस ने कहा कि अखिलेश यादव ने मार्च निकालने के लिए पुलिस प्रशासन से इजाजत नहीं ली थी। पुलिस का कहना है कि अखिलेश ने बिना अनुमति लिए मार्च निकालने की कोशिश की। जिसके चलते यातायात प्रभावित हो रहा था।