उत्तर प्रदेश में पहले भी अस्पताल प्रशासन की लापवाही और अनदेखी की खबरें सामने आ चुकी है, जहाँ गरीब लोगों के साथ सही बर्ताव नहीं किया जाता और उन्हें सही वक़्त में सर्विस मुहैया नहीं करवाई जाती। हालांकि योगी सरकार तो इससे बिलकुल उल्ट ही दावे करती है। लेकिन आम जनता के साथ जो सलूक सरकारी अस्पतालों में होता है।
उसकी सच्चाई लोगों के सामने आ ही जाती है। ताजा मामला सामने आया है उत्तर प्रदेश के बदायूं जिले के मूसा झाग से जहाँ के जिला अस्पताल में गांव मझारा निवासी सादिक की बीवी मुनीशा की मौत हो गई। बीवी की मौत के बाद अस्पताल ने सादिक को सरकारी एम्बुलेंस नहीं दी, इसी कारण वह मदद ने मिलने वर अस्पताल से शव को कंधे पर रखकर भटकता रहा।
जब इस बात का पता बाजार के लोगों को चला कि सादिक के पास शव को घर तक ले जाने के लिए पैसे नहीं हैं। बाजार के लोगों ने चंदा करके गांव पहुंचाया। इस दौरान उसने ऑटो वाले से भी मदद मांगी लेकिन ऑटो वाले ने भी मदद करने से इंकार कर दिया।
मामले के सामने आने पर अस्पताल प्रशासन ने इसकी जांच के आदेश दे दिए है। वहीं मेडिकल सुप्रिटेंडेंट का कहना है कि हमने इस मामले में जांच के आदेश दे दिए है। और जो भी व्यक्ति इस के लिए जिम्मेदार होगा उसके खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाही की जाएगी।
#WATCH Badaun: Man carried wife's dead body on his shoulder in the absence of a hearse van, yesterday. Chief Medical Officer has ordered probe into the matter pic.twitter.com/5GXQ5SxBbU
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) May 8, 2018